7 साल पुराने मामले में डायरेक्टर को सुनाई गई तीन महीने सजा और लाखों का जुर्माना

विवादों से हिंदी फिल्म निर्देशक राम गोपाल वर्मा का पुराना नाता रहा है। आए दिन किसी न किसी वजह से उनका नाम सुर्खियां बटोरता है। लेकिन फिलहाल रामू को लेकर जो खबर सामने आ रही है, उससे उनके फैंस की चिंता बढ़ सकती है।

सात साल पुराने एक मामले को लेकर अदालत ने राम गोपाल वर्मा को लेकर गैर जमनाती वारंट जारी किया है और इसके साथ ही 3 महीने की जेल का आदेश दिया है। आइए इस लेख में मामले को विस्तार से समझते हैं और जानते हैं कि आखिर क्यों सत्या फिल्म डायरेक्टर के खिलाफ ये कानूनी कार्रवाई हुई है।

कानूनी पचड़े में फंसे राम गोपाल वर्मा
अक्सर देखा जाता है कि विवादित सोशल मीडिया पोस्ट या अपने बयान को लेकर राम गोपाल वर्मा कंट्रोवर्सी क्रिएट करते रहते हैं। लेकिन इस बार वह कानूनी पचड़े में बुरी तरह फंस गए हैं। इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार मुंबई की एक अदालत ने 7 साल पुराने चेक बाउंस मामले पर सुनवाई करते हुए राम गोपाल वर्मा को 3 महीने की जेल और जुर्माने की सजा का एलान किया है।

याचिका की सुनवाई के दौरान वह कोर्ट में गैर मौजूद नहीं रहे, जिसको मद्देनजर रखते हुए उनके खिलाफ गैर-जमानती वारंट भी जारी करने का आदेश दिया गया है। कोर्ट ने कहा है कि राम गोपाल वर्मा को शिकायतकर्ता को 3 महीने के भीतर 3 लाख 72 हजार 219 रुपये का मुआवजा देना होगा।

अगर राम गोपाल वर्मा ऐसा करने में असमर्थ रहते हैं तो उनके तीन महीने के लिए जेल भी भेजा जा सकता है। बता दें कि जिस अपराध के तहत राम गोपाल को ये सजा सुनाई गई है, वह नेगोशिएबल इंस्ट्रूमेंट्स एक्ट के सेक्शन (धारा) 131 के अंर्तगत आता है, जिसके तहत फिल्ममेकर के खिलाफ कानूनी कार्रवाई हुई है।

राम गोपाल वर्मा ने किया नई फिल्म का एलान
इस विवाद के दौरान राम गोपाल वर्मा का नाम अपनी अपकमिंग फिल्म की अनाउंसमेंट को लेकर भी लाइमलाइट में बना हुआ है। उनकी अगली फिल्म का नाम सिंडिकेट है, जिसका एलान उन्होंने अपने ऑफिशियल एक्स अकाउंट पर किया है।

इस पोस्ट में निर्देशक ने इस मूवी के बारे में खुलकर बात की है और फैंस को पूरा कॉन्सेप्ट समझाया है। बता दें कि चेक बाउंस मामले में राम गोपाल वर्मा को 2022 में एक बार जमानत भी मिल चुकी है।

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